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Chitrakoot: चिंतन शिविर में संघ का मुख्य एजेंडा पीओके, गिलगित बाल्टिस्तान व अक्साई चीन

कई बार चित्रकूट की भूमि पर राष्ट्र की बेहतरी के लिए चिंतन कर चुका संघ इस बार के चिंतन शिविर में कश्मीर के साथ ही पीओके, गिलगित बाल्टीस्तान व अक्साई चीन पर खास फोकस कर सकता है। 9 जुलाई से चित्रकूट के आरोग्यधाम में होने वाली बैठक में संघ के रणनीतिकारों के सामने प्रमुख मुद्दे यही होने की उम्मीद है। मंगलवार की सुबह संघ प्रमुख मोहन भागवत चित्रकूट पहुंच चुके हैं। उनके साथ संघ के लगभग सभी पदाधिकारी भी चित्रकूट पहुंच चुके हैं।


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कम्ब रामायण कहती है कि दशानन को मारने का प्लान चित्रकूट में बना था और अब बीजेपी का थिंक टैंक यानि राष्ट्रीयस्वयं सेवक संघ सम्पूर्ण भारत को भगवामय बनाने की रणनीति का वैचारिक मंथन चित्रकूट में करेगा। उनका लक्ष्य न केवल पूरा भारतवर्ष होगा बल्कि गिलगित बाल्टीस्तान व अक्साई चीन को कैसे पुनः कब्जे में लिया जाए, इसकी भी रणनीति बनाई जा सकती है।

यूपी विधानसभा चुनाव पर भी होगी चर्चा!

जानकार सूत्रों के अनुसार 9 जुलाई से आरोग्यधाम के अंदर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के लगभग 60 प्रमुख राष्ट्रीय पदाधिकारी सरसंघचालक मोहन भागवत के सामने इस बात की मंत्रणा करेंगे कि पूरा भारतवर्ष आखिर कैसे भगवामय हो। इसके साथ ही इस बात पर भी चिंतन हो सकता है कि बंगाल, केरल और दिल्ली, पंजाब, राजस्थान में कैसे राजनीतिक स्तर पर राष्ट्रवाद को मजबूती दी जाए। इस दौरान यूपी में आने वाले विधानसभा चुनाव की भी चर्चा रहेगी। योगी को प्रचार की प्रमुख कमान सौंपने से पहले उनको दिये जाने वाले निर्दशों के बारे में भी विमर्श संभव है।

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आरएसएस के राष्ट्रीय प्रचार प्रसार प्रमुख सुरेश सोनी शनिवार को आकर आरोग्यधाम में अपना आसन जमा चुके हैं। दीनदयाल शोध संस्थान के पदाधिकारी व कार्यकर्ता लगातार बैठक की तैयारियों को अंतिम रूप देने के लिए लगे हुए हैं। आरोग्यधाम परिसर को सुंदरतम रूप देने का काम चल रहा है। कार्यकर्ता हर कहीं पर कुछ न कुछ सजाते संवारते नजर आ रहे हैं। चित्रकूट की धरती पर संघ पिछले साल के कामों का आत्मावलोकन करने के साथ ही आगामी वर्ष के लिए संघ के कार्यक्रमों की रणनीति पर विचार करेगा।

स्रोत- नवभारत टाइम्स 

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