झांसी: स्मार्ट सिटी में लोग अब चालान के आतंक से परेशान है. झांसी नगर निगम क्षेत्र में रहने वाले हर तीसरे व्यक्ति का चालान आए दिन कट जाता है. चौराहों पर लगे हाईटेक कैमरे सीधा चालान काटते हैं. चालान कटने के बाद होना तो यह चाहिए की चालान की एक कॉपी सीधा गाड़ी के मालिक तक पहुंचा दी जाए लेकिन ऐसा हो नहीं रहा है. गाड़ी के मालिक को 4 महीने बाद पता चलता है उसकी गाड़ी का चालान काट दिया गया था.
झांसी में कई ऐसे मामले सामने आए हैं जिसमें लोगों के पास जनवरी महीने के चालान मई के महीने में पहुंच रहे हैं. ट्रैफिक नियम का उल्लंघन करने वाले व्यक्ति को 5 महीने बाद चलता है कि उसने किसी समय पर नियम का उल्लंघन किया था. लोग इस बात से परेशान है कि जब चालान कटने के 3 दिन के भीतर कोर्ट में चला जाता है तो यह कौन सा नया सिस्टम है कि 5 महीने के बाद लोगों के मोबाइल पर चालान भेजा जा रहा है. कई बार तो एक साथ लोगों के फोन में 8 से10 चालान पहुंच जा रहे हैं जिनकी कीमत हजारों में हो जाती है.
स्टाफ की कमी है कारण
चालान काटने में हो रही इस गड़बड़ी के बारे में नगर आयुक्त पुलकित गर्ग ने कहा कि स्मार्ट सिटी कंट्रोल रूम से हर गाड़ी पर नजर रखी जाती है. जो भी उल्लंघन करता है उसका वीडियो रिकॉर्ड करके ट्रैफिक विभाग को भेज दिया जाता है. एक दिन में 12 से 15 हजार लोग ट्रैफिक नियम का उल्लंघन कर रहे हैं. स्टाफ कम होने की वजह से 1 दिन में अधिकतम 3 से 4 हजार लोगों की डिटेल ही ट्रैफिक विभाग तक पहुंचाई जा रही है. इस वजह से लोगों के पास चालान देरी से पहुंच रहा है. उन्होंने कहा कि अगर लोग चाहते हैं चालान न कटे तो ट्रैफिक नियम का उल्लंघन करना बंद कर दें.
साभार: न्यूज़ 18
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